Surah Hud Verse 52 - Hindi Translation by Muhammad Farooq Khan And Muhammad Ahmed
Surah Hudوَيَٰقَوۡمِ ٱسۡتَغۡفِرُواْ رَبَّكُمۡ ثُمَّ تُوبُوٓاْ إِلَيۡهِ يُرۡسِلِ ٱلسَّمَآءَ عَلَيۡكُم مِّدۡرَارٗا وَيَزِدۡكُمۡ قُوَّةً إِلَىٰ قُوَّتِكُمۡ وَلَا تَتَوَلَّوۡاْ مُجۡرِمِينَ
ऐ मेरी क़ौम के लोगो! अपने रब से क्षमा याचना करो, फिर उसकी ओर पलट आओ। वह तुमपर आकाश को ख़ूब बरसता छोड़ेगा और तुममें शक्ति पर शक्ति की अभिवृद्धि करेगा। तुम अपराधी बनकर मुँह न फेरो।