أَفَحَسِبَ ٱلَّذِينَ كَفَرُوٓاْ أَن يَتَّخِذُواْ عِبَادِي مِن دُونِيٓ أَوۡلِيَآءَۚ إِنَّآ أَعۡتَدۡنَا جَهَنَّمَ لِلۡكَٰفِرِينَ نُزُلٗا
तो क्या उन्होंने सोचा है जो काफ़िर हो गये कि वे बना लेंगे मेरे दासों को मेरे सिवा सहायक? वास्तव में, हमने काफ़िरों के आतिथ्य के लिए नरक तैयार कर दी है।
Author: Maulana Azizul Haque Al Umari