Surah Al-Baqara Verse 150 - Hindi Translation by Muhammad Farooq Khan And Muhammad Ahmed
Surah Al-Baqaraوَمِنۡ حَيۡثُ خَرَجۡتَ فَوَلِّ وَجۡهَكَ شَطۡرَ ٱلۡمَسۡجِدِ ٱلۡحَرَامِۚ وَحَيۡثُ مَا كُنتُمۡ فَوَلُّواْ وُجُوهَكُمۡ شَطۡرَهُۥ لِئَلَّا يَكُونَ لِلنَّاسِ عَلَيۡكُمۡ حُجَّةٌ إِلَّا ٱلَّذِينَ ظَلَمُواْ مِنۡهُمۡ فَلَا تَخۡشَوۡهُمۡ وَٱخۡشَوۡنِي وَلِأُتِمَّ نِعۡمَتِي عَلَيۡكُمۡ وَلَعَلَّكُمۡ تَهۡتَدُونَ
जहाँ से भी तुम निकलो, 'मस्जिदे हराम' की ओर अपना मुँह फेर लिया करो, और जहाँ कहीं भी तुम हो उसी की ओर मुँह कर लिया करो, ताकि लोगों के पास तुम्हारे ख़िलाफ़ कोई हुज्जत बाक़ी न रहे - सिवाय उन लोगों के जो उनमें ज़ालिम हैं, तुम उनसे न डरो, मुझसे ही डरो - और ताकि मैं तुमपर अपनी नेमत पूरी कर दूँ, और ताकि तुम सीधी राह चलो