ٱلَّذِينَ يُبَلِّغُونَ رِسَٰلَٰتِ ٱللَّهِ وَيَخۡشَوۡنَهُۥ وَلَا يَخۡشَوۡنَ أَحَدًا إِلَّا ٱللَّهَۗ وَكَفَىٰ بِٱللَّهِ حَسِيبٗا
जो पहुँचाते हैं अल्लाह के आदेश तथा उससे डरते हैं, वे नहीं डरते हैं किसी से, उसके सिवा और पर्याप्त है अल्लाह ह़िसाब लेने के लिए।
Author: Maulana Azizul Haque Al Umari