وَٱلَّذِينَ سَعَوۡ فِيٓ ءَايَٰتِنَا مُعَٰجِزِينَ أُوْلَـٰٓئِكَ لَهُمۡ عَذَابٞ مِّن رِّجۡزٍ أَلِيمٞ
और जिन लोगों ने हमारी आयतों (के तोड़) में मुक़ाबिले की दौड़-धूप की उन ही के लिए दर्दनाक अज़ाब की सज़ा होगी
Author: Suhel Farooq Khan And Saifur Rahman Nadwi