وَأُخۡرَىٰ تُحِبُّونَهَاۖ نَصۡرٞ مِّنَ ٱللَّهِ وَفَتۡحٞ قَرِيبٞۗ وَبَشِّرِ ٱلۡمُؤۡمِنِينَ
और एक चीज़ जिसके तुम दिल दादा हो (यानि तुमको) ख़ुदा की तरफ से मदद (मिलेगी और अनक़रीब फतेह (होगी) और (ऐ रसूल) मोमिनीन को ख़ुशख़बरी (इसकी) दे दो
Author: Suhel Farooq Khan And Saifur Rahman Nadwi