فَكُلُواْ مِمَّا رَزَقَكُمُ ٱللَّهُ حَلَٰلٗا طَيِّبٗا وَٱشۡكُرُواْ نِعۡمَتَ ٱللَّهِ إِن كُنتُمۡ إِيَّاهُ تَعۡبُدُونَ
अतः उसमें से खाओ, जो अल्लाह ने तुम्हें ह़लाल (वैध) स्वच्छ जीविका प्रदान की है और अल्लाह का उपकार मानो, यदि तुम उसी की इबादत (वंदना) करते हो।
Author: Maulana Azizul Haque Al Umari